UP Bal Shramik Vidya Yojana 2023 : उत्तर प्रदेश के श्रम विभाग के द्धारा प्रदेश के बाल मजदूरी से जुड़े बच्चों के लिये एक बहुत ही शानदार योजना का संचालन किया जा रहा है। जिसका नाम Mukhyamantri Bal Shramik Vidya Yojana है।
इस योजना के तहत प्रदेश के कम उम्र के कामकाजी बच्चों को शिक्षा की मुख्यधारा में शामिल कराने के लिये उत्तरप्रदेश सरकार की अनूठी पहल के रूप में उत्तर प्रदेश बाल श्रमिक विद्या योजना को देखा जा रहा है।
यूपी मुख्यमंत्री बाल श्रमिक विद्धा योजना के तहत बाल मजदूरी के काम में लगे हुये कम उम्र के बच्चों को बाल श्रम से निकाल कर उन्हें शिक्षा के अधिकार के तहत स्कूल में भेजा जा रहा है। इसके लिये बच्चों को सरकार की ओर से वित्तीय सहायता भी उपलब्ध कराई जा रही है।
आज की इस पोस्ट में हम आपको UP Bal Shramik Vidya Yojana Online Registration | Uttar Pradesh Bal Shramik Vidya Yojana Apply Online | Bal Shramik Vidya Yojana Application Form 2023 | बाल श्रमिक विद्या योजना यूपी फार्म आदि के विषय में विस्तार से जानकारी देने जा रहे हैं। कृप्या इस पोस्ट को अंत तक जरूरी पढ़ें ताकि आपको जरूरी जरूरी व Helpful Information हासिल हो सके।
UP Bal Shramik Vidya Yojana Kya Hai : उत्तर प्रदेश बाल श्रमिक विद्या योजना मुख्य रूप से ऐसे बच्चों के लिये लांच की गयी है, जिनका संबंध सीधे तौर पर बाल श्रम (बाल मजदूरी) से है। ऐसे बच्चों के परिवार आर्थिक बदहाली के कारण अपने छोटे छोटे नाबालिग बच्चों को कल कारखानों, ईंट भटटा, ढाबों, होटलों, चाय की दुकानों आदि पर काम करने के लिये भेज देते हैं।
जहां पर उनसे बाल मजदूरी कराई जाती है। जैसा कि हम सब जानते हैं कि भारत में बाल मजदूरी कराना अपराध की श्रेणीं में आता है। लेकिन इसके बावजूद यूपी समेत देश के सभी राज्यों में बाल श्रम की समस्या देखने में आती है। इसी बात को मददेनजर रखते हुये यूपी में बाल श्रमिक विद्या योजना की शुरूआत की गयी है। ताकि बाल मजदूरी के दलदल में डूबे बच्चों को शिक्षा के उजाले की ओर भेजा जा सके। इसके लिये यूपी सरकार अत्यंत गंभीर दिखाई पड़ रही है। यही कारण है कि यूपी विद्या योजना 2023 के तहत लाभार्थी लड़कों को 1000 रूपये महीना तथा लड़की को 1200 रूपये महीने की वित्तीय सहायता प्रदान की जा रही है।
योजना का नाम – बाल श्रमिक विद्या योजना
राज्य – उत्तर प्रदेश
किसने लांच की – मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने
कब लागू हुई – 12 जून 2022 से पूरे प्रदेश में लागू
योजना के लाभार्थी – गरीब व अनाथ बच्चे जो बाल मजदूरी से जुड़े हैं
आधिकारिक वेबसाइट – http://bsvy.in/
बाल श्रमिक विद्या योजना यूपी का मुख्य उद्देश्य बाल मजदूरों को बाल श्रम के दलदल से बाहर निकालना तथा उन्हें स्कूलों में प्रवेश दिला कर पढ़ा लिखा योग्य नागरिक बनाना है। यह योजना श्रमिक बच्चों को स्कूल वापसी तथा उनकी शिक्षा में निरंतरता तय करने के लिये बच्चों तथा उनके अभिभावकों को भी अलग अलग वित्तीय सहायता प्रदान करने का काम करती है।
बाल श्रम से जुड़े ऐसे बच्चों को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाती है, जिनके माता व पिता दोनों की मृत्यू हो चुकी है, तथा ऐसे बच्चों की बाल श्रम से होने वाली आय से ही परिवार का खर्च चलता है। ऐसे बच्चे का किसी सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान चिन्हींकरण जरूरी होता है।
जिन बाल मजदूर बच्चों के पिता की मृत्यू हो चुकी होती है, उन्हें द्धितीय प्राथमिकता की श्रेणी में रखा जाता है। ऐसा बच्चा परिवार की आर्थिक स्थिति को बेहतर बनाये रखने के लिये बाल श्रम करके पैसा कमा रहा होता है। ऐसे बच्चों का सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान चिन्हींकरण आवश्यक है।
इस श्रेणीं में उन बच्चों को रखा जाता है, जिनके माता पिता दोनों ही दिव्यांग हैं और बच्चे परिवार के लिये पैसा कमाने हेतु बाल श्रम करके अपना योगदान देते हैं। ऐसा बच्चा सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान चिन्हित किया जाता है।
ऐसे लड़के – लड़कियां जिनके माता पिता असाध्य रोग से ग्रस्त हैं, तथा बच्चों को परिवार के लिये पैसा कमाने के लिये बाल श्रम करना पड़ रहा हो। ऐसे बाल श्रमिक भी श्रम विभाग के सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान चिन्हित किये जाते हैं।
Bal Shramik Vidya Yojana के तहत पांचवी कैटेगरी में उन बच्चों को पात्र माना जाता है, जिनके पिता स्थायी रूप से दिव्यांग होते हैं। व बच्चा परिवार को आर्थिक सहायता प्रदान करने के लिये बाल श्रमिक के रूप में कहीं कार्य कर रहा हो। ऐसे बच्चों का चिन्हींकरण सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान किया जाता है।
ऐसे बच्चे जिनके पिता किसी असाध्य रोग से ग्रस्त होते हैं, उन्हें बाल विद्या योजना की 6th श्रेणीं में रखा जाता है। यह अपने पिता के रोग ग्रस्त होने पर बाल श्रम करके घर में पैसा लाने में अपना योगदान देते हैं। इन बच्चों का चिन्हींकरण भी सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान किया जाता है।
सातवीं श्रेणीं में उन बच्चों को रखा जाता है। जिनके परिवार की मुखिया महिला अथवा माता मुखिया होती है। ऐसे बच्चे अपने परिवार की महिला मुखिया को आर्थिक सहयोग प्रदान करने के मकसद से चाय के होटलों, चिकन शॉप आदि में बाल मजदूरी करते हैं। ऐसे बच्चे भी श्रम विभाग के सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान चिन्हित किये जाते हैं।
इस श्रेणी में उन बच्चों को प्राथमिकता दी जाती है, जिनकी माता की मृत्यू हो चुकी हो, माता स्थायी रूप से दिव्यांग हो अथवा मां किसी गंभीर असाध्य रोग से ग्रस्त हो। इस प्रकार के बाल श्रमिकों का चिन्हींकरण सर्वेक्षण / निरीक्षण के दौरान किया जाता है।
ऐसे बाल श्रमिकों के परिवार जो भूमिहीन हैं तथा उन परिवारों के बच्चे आर्थिक सहयोग करने के मकसद से बाल श्रम से जुड़े हुये हैं। इस प्रकार के बाल श्रमिकों को चयन भी सर्वेक्षण / निरीक्षण के समय किया जाता है।
यदि बाल श्रमिक की आयु 08 से 18 वर्ष के बीच है और वह संगठित अथवा असंगठित किसी भी क्षेत्र में बाल मजदूरी करके अपनी सेवायें दे रहे हैं। तो वह Bal Shramik Vidya Yojana के लिये Eligible हो जाते हैं।
जो बच्चे चिकन शॉप / चाय के होटलों / चाय के ठेलों / ढाबों / कल कारखानों / ईंट भटटा / कृषि / गैर कृषि / स्वरोजगार अथवा गृह आधारित प्रतिष्ठानों में बाल मजदूरी कर रहे हैं। इस प्रकार के सभी श्रम को 08 से 18 वर्ष के बीच की आयु में करने पर बाल श्रम की श्रेणीं में रखा जाता है।
जी हां, बाल एवं किशोर श्रम (प्रतिषेध एवं विनियमन) अधिनियम 1986 यथा संशोधित 2016 के अनुसार 14 साल तक के बच्चों से किसी भी प्रकार का कार्य करवाना प्रतिबंधित है। साथ ही 14-18 साल तक के बच्चों से खतरनाक व्यवसायों एवं प्रक्रियाओं में काम करवाना भी प्रतिबंधित है। इसलिये आप यह अच्छी तरह समझ लें कि बाल श्रम अपराध है आपको इससे बचना चाहिये।
यदि कोई व्यक्ति / नियोजक / दुकानदार कम उम्र के बच्चों से काम करवाता है तो उसे न्यनतम 6 माह की सजा एवं अधिकतम 2 साल के कारावास की सजा तथा न्यूनतम 20,000 रूपये एवं अधिकतम 50,000 रूपये का जुर्माना अथवा दोनों सजा दी जा सकती है।
साथ ही अपराध को पुन: दोहराने पर न्यूनतम 1 साल जेल की सजा तथा अधिकतम 3 साल की जेल जुर्मानें के साथ दी जा सकती है।
यदि माता पिता भी जान बूझकर परिवार की आय में बढ़ोत्तरी के मकसद से बच्चों से काम करवाते हैं तो उन पर भी 10,000 रूपये का जुर्माना लगेगा।
Uttar Pradesh Bal Shramik Vidya Yojana Helpline Number – 1800 180 5160 है। इस पर आप योजना संबंधी सहायता मांग सकते हैं तथा यदि आपके आस पास कोई बाल श्रमिक है तो उसकी सूचना श्रम विभाग को कॉल करके दे सकते हैं।
Bal Shramik Vidya Yojana Apply Online : यदि आप किसी बाल श्रम से जुड़े बच्चे को इस योजना का लाभ दिलाना चाहते हैं, तो हम आपको बताना चाहते हैं कि इस योजना के अंतर्गत कोई भी व्यक्ति पात्र कामकाजी बच्चे को Online Bal Shramik Vidya Yojana Portal पर संदर्भित कर सकता है।
ऊपर दिये गये लिंक पर क्लिक करते ही आप यूपी बाल श्रमिक विद्या योजना पोर्टल के Online Registration Page पर पहुंच जाते हैं।
यहां आवेदन करें पर क्लिक करने के बाद रजिस्ट्रेशन फार्म खुल जाता है।
आप बाल श्रमिकों से संबंधित सूचना श्रम विभाग के टोल फ्री नंबर पर कॉल करके दे सकते हैं। इस टोल फ्री नंबर का उल्लेख हमने पोस्ट के ऊपरी हिस्से में किया है।
यदि गांव के 1 किलोमीटर के दायरे में कोई भी सरकारी स्कूल नहीं है तो जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के अनुमोदन पर आप किसी मान्यता प्राप्त निजी स्कूल में बच्चे का प्रवेश करा सकते हैं।
मुख्यमंत्री बाल श्रमिक विद्या योजना का लाभार्थी होने के बावजूद यदि वित्तीय सहायता प्राप्त नहीं हो रही है तो आपको योजना के वेब पोर्टल पर जाकर अपनी शिकायत ऑनलाइन दर्ज करानी होगी। जिसके बाद शिकायत पर कार्रवाही होगी और खाते में पैसा आना शुरू हो जायेगा।
तो दोस्तों यह थी हमारी आज की पोस्ट UP Bal Shramik Vidya Yojana Kya Hai यदि आप UP Bal Shramik Vidya Yojana 2023 से संबंधित कोई अन्य प्रश्न पूछना चाहते हैं तो आप हमसें कमेंट बॉक्स के जरिये पूछ सकते हैं। आपकी जिज्ञासाओं का उचित निराकरण किया जायेगा।
This post was last modified on December 31, 2022
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